Fnd, देहरादून: उत्तराखंड में हरिद्वार जिला छोड़ प्रदेश के अन्य 12 जिलों में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव कराए जाने संबंधित अधिसूचना जारी हो चुकी है. उत्तराखंड शासन की ओर से चुनावी कार्यक्रम की अधिसूचना जारी होने के बाद राज्य निर्वाचन आयोग ने शनिवार को प्रेसवार्ता को संबोधित किया.
राज्य निर्वाचन आयुक्त सुशील कुमार ने बताया कि राज्य सरकार की ओर से आरक्षण की प्रक्रिया पूरी कर ली गई थी. साथ ही राज्य निर्वाचन आयोग को भी भेज दिया था. ऐसे में पंचायती राज सचिव की ओर से चुनावी अधिसूचना 21 जून को जारी होने के बाद अब जिला निर्वाचन अधिकारी 23 जून को चुनाव की सूचना जारी करेंगे. जारी अधिसूचना के अनुसार, प्रदेश में दो चरणों में पंचायत चुनाव कराए जाएंगे. साथ ही 19 जुलाई को एक साथ मतगणना होगी.
राज्य निर्वाचन की ओर से अधिसूचना जारी किए जाने के बाद प्रदेश के पंचायतों में मतगणना समाप्ति तक आदर्श आचार संहिता लागू हो गई है. उत्तराखंड के 12 जिलों में पंचायत चुनाव होने हैं. जिसके तहत 89 विकासखंडों और 7499 ग्राम पंचायतों में चुनाव कराए जाएंगे. प्रदेश के 12 जिलों में 66 हजार 418 पदों पर चुनाव होने हैं. जिसमें से सदस्य ग्राम पंचायत के 55 हजार 587 पद, प्रधान ग्राम पंचायत के 7499 पद, सदस्य क्षेत्र पंचायत के 2974 पद और सदस्य जिला पंचायत के 358 पदों पर चुनाव होने हैं. हरिद्वार जिला छोड़ प्रदेश के कुल 66 हजार 418 पदों पर चुनाव होने हैं. जिसके लिए प्रदेश भर में कुल 8276 मतदान केंद्र जबकि 10 हजार 529 मतदान स्थल बनाए गए हैं.
4.93 लाख नए मतदाता: राज्य चुनाव निर्वाचन आयोग के मुताबिक, प्रदेश के 12 जिलों में मतदाताओं की संख्या 47 लाख 77 हजार 72 है. जिसमें 24 हजार 65 हजार 702 पुरुष मतदाता और 23 लाख 10 हजार 996 महिला मतदाता के साथ ही 374 अन्य मतदाता शमिल हैं. साल 2019 के मुकाबले साल 2025 में मतदाताओं की संख्या में करीब 10.57 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. यानी कुल 4 लाख 56 हजार 793 मतदाता बढ़े हैं.
मत पत्रों का रंग तय: त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के मद्देनजर, पदों के अनुसार मत पत्रों का रंग भी तय किया गया है. जिसके तहत ग्राम पंचायत सदस्य के लिए सफेद रंग का मतपत्र, प्रधान के लिए हरा रंग का मतपत्र होगा. क्षेत्र पंचायत सदस्य के लिए नीला रंग का मतपत्र होगा. जिला पंचायत सदस्य के लिए गुलाबी रंग का मतपत्र होगा.
दो चरणों में होंगे त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव:-
पहले चरण के चुनाव चिन्ह का आवंटन 3 जुलाई को सुबह 8 बजे से कार्य समाप्ति तक किया जाएगा.
पहले चरण का मतदान 10 जुलाई को सुबह 8 बजे से शाम 5 बजे तक होगा.
दूसरे चरण के चुनाव चिन्ह का आवंटन 8 जुलाई को सुबह 8 बजे से कार्य समाप्ति तक किया जाएगा.
दूसरे चरण का मतदान 15 जुलाई को सुबह 8 बजे से शाम 5 बजे तक होगा.
दोनों चरणों के चुनाव की मतगणना एक साथ 19 जुलाई को सुबह 8 बजे से कार्य समाप्ति तक किया जाएगा.
66 प्रेक्षक होंगे तैनात: राज्य निर्वाचन आयोग से मिली जानकारी के अनुसार, मतदान और मतगणना के लिए कुल 95 हजार 909 अधिकारियों व कर्मचारियों की तैनाती की जाएगी. इनमें से 35 हजार 700 कर्मी सुरक्षा व्यवस्था में तैनात रहेंगे. मतदान स्थल पर पीठासीन अधिकारियों के रूप में 11 हजार 849 कर्मचारियों, मतदान स्थल पर मतदान अधिकारियों के रूप में 47 हजार 910 कर्मचारियों, सेक्टर मजिस्ट्रेट/जोनल मजिस्ट्रेट/नोडल अधिकारी/ प्रभारी अधिकारियों के रूप में 450 अधिकारियों और मतदान स्थलों पर 35 हजार 700 सुरक्षा कर्मियों की तैनाती की जाएगी. पंचायत चुनाव के लिए कुल 5620 वाहन लगाए जाएंगे, जिसमें 3342 हल्के वाहन और 2278 भारी वाहन शामिल हैं. पंचायत चुनाव में 55 सामान्य प्रेक्षकों और 12 आरक्षित प्रेक्षकों की तैनाती की जाएगी. यानी कुल 67 प्रेक्षक तैनात किए जाएंगे.
जानें, टोल फ्री नंबर और वेबसाइट:-
राज्य निर्वाचन आयोग ने 18001804280 टोल फ्री नंबर जारी किया.
आदर्श आचार संहिता और पंचायत मतदाता सूची की प्रति आयोग की वेबसाइट www.sec.uk.gov.in पर उपलब्ध.
उम्मीदवारों के लिए अधिकतम खर्च की सीमा निर्धारित: राज्य निर्वाचन आयोग के द्वारा त्रिस्तरीय पंचायत सामान्य निर्वाचन के लिए उम्मीदवारों के लिए अधिकतम व्यय की सीमा निर्धारित की गई है. जिसके अनुसार सदस्य ग्राम पंचायत के लिए 10 हजार रुपए, प्रधान ग्राम पंचायत 75 हजार रुपए, सदस्य क्षेत्र पंचायत 75 हजार रुपए और सदस्य जिला पंचायत के लिए 2 लाख रुपए की अधिकतम व्यय सीमा रखी गई है.
रेंडमाइजेशन प्रणाली के होंगी मतदान और मतगणना कर्मियों की तैनाती: मतदान और मतगणना की प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष रूप से किए जाने को लेकर मतदान एवं मतगणना कर्मियों की तैनाती सॉफ्टवेयर के जरिए रेंडमाइजेशन प्रणाली से की जाएगी. त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के दौरान अवैध शराब, मादक पदार्थ, नकदी समेत अन्य प्रकार की चीजों पर लगाम लगाए जाने को लेकर जिला स्तर पर 3 टीमें गठित की जाएंगी.